डार्कवेब से 4 लाख अमेरिकियों का डेटा लेकर करोड़ों ठगे: US मार्शल बनकर अकाउंट सीज करने का डर दिखाते, नोएडा में 88 अरेस्ट

नोएडा3 घंटे पहलेलेखक: दीपांकर जैन

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पुलिस रेड के वक्त नोएडा ऑफिस के अंदर कुछ ऐसा सीन नजर आया था।

‘मैं अमेरिका के सोशल सिक्योरिटी एडमिनिस्ट्रेटिव से बात कर रही हूं। मैं आपकी कैसे मदद कर सकती हूं? ‘ ये स्क्रिप्ट की पहली लाइन है। जो अमेरिकी नागरिकों से फोन पर नोएडा से जालसाज बोलती थीं। इसके बाद शुरू होता था अमेरिकी नागरिकों को फंसाने का खेल। एक बार विदेशी नागरिक झांसे में आया, तो उसके बैंक अकाउंट से लाखों डॉलर निकाल लेते थे।

अमेरिकी एजेंसी के इनपुट पर नोएडा पुलिस ने गुरुवार को बड़े फर्जी कॉल सेंटर को पकड़ा। ये जालसाज अमेरिकी नागरिकों को SSN (सोशल सिक्योरिटी नंबर) का गलत इस्तेमाल के नाम पर धमकी देते थे, फिर क्रिप्टो करेंसी और गिफ्ट कार्ड के जरिए ठगी कर रहे थे।

पूछताछ में खुलासा हुआ कि डार्कवेब से 4 लाख अमेरिका के लोगों का डेटा लेकर कई करोड़ की ठगी की गई। नोएडा पुलिस ने कॉल सेंटर ऑफिस से 46 लड़के और 38 लड़कियों को अरेस्ट किया है। इनमें 90% लोग नॉर्थ ईस्ट के हैं। ये क्रिप्टो बार कोड या गिफ्ट कार्ड के जरिए जालसाजी करते थे। मजे की बात है कि ये ठगी महीने में सिर्फ 15 दिन करते थे।

सबसे पहले जालसाजी का पैटर्न बताते हैं…

अमेरिकी सुरक्षा एजेंसी से इनपुट मिलने के बाद नोएडा पुलिस ने ठगी करने वाले कॉल सेंटर को पकड़ा। यहां से 80 से ज्यादा कर्मचारियों को गिरफ्तार किया।

अमेरिकी सुरक्षा एजेंसी से इनपुट मिलने के बाद नोएडा पुलिस ने ठगी करने वाले कॉल सेंटर को पकड़ा। यहां से 80 से ज्यादा कर्मचारियों को गिरफ्तार किया।

डार्क वेबसाइट से US नागरिकों का डेटा लिया
DCP हरीश चंदर ने बताया कि इन लोगों ने सबसे पहले अलग-अलग डार्क वेबसाइट से करीब 4 लाख US नागरिकों का डेटा लिया। यूएस में नागरिकों को एक यूनिक सोशल सिक्योरिटी नंबर दिया जाता है। इन नंबरों पर कॉलर सिक्योरिटी एडमिनिस्ट्रेशन डिपार्टमेंट ऑफ यूएस के नाम पर एक वाइस मैसेज भेजते थे।

SSN पर जैसे ही अमेरिकी नागरिक इस वाइस मैसेज को खोलता, उसे बताया जाता कि आपका SSN नंबर का गलत इस्तेमाल हो रहा है। आपका अकाउंट ब्लॉक किया जा रहा है। अधिक जानकारी के लिए 1 प्रेस करें। वन टाइप होते ही उनकी कॉल VICIDIAL पर लैंड हो जाती थी।

पुलिस को कई हार्ड डिस्क और इलेक्ट्रानिक डिवाइस मिलीं। इनमें प्री रिकॉर्डेड मैसेज भी थे।

पुलिस को कई हार्ड डिस्क और इलेक्ट्रानिक डिवाइस मिलीं। इनमें प्री रिकॉर्डेड मैसेज भी थे।

US मार्शल बनकर करते थे बात
फिर ये XLITE सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल करके अमेरिकी नागरिक को एक लंबी चौड़ी स्क्रिप्ट यहां से कॉलर (जालसाज) की ओर से बोली जाती थी। यहीं स्क्रिप्ट ही अमेरिकी नागरिकों को डरा देती थी। आखिर में यूएस मार्शल बनकर अमेरिकी नागरिक से बात करते। बोला जाता कि आपका बैंक अकाउंट सीज किया जा रहा है।

अगर आपको अपना पैसा बचाना है, तो आपको अपना पैसा अकाउंट से निकालना पड़ेगा। ये भी सुझाव देते कि पैसा बचाने के लिए क्रिप्टो करेंसी या गिफ्ट कार्ड में कन्वर्ट कर सकते हैं।

अगर अमेरिकी नागरिक क्रिप्टो करेंसी को खरीदना चाहता, तो एक बार कोड दे दिया जाता। जिसे स्कैन करते ही पैसा जालसाज के बैंक अकाउंट में ट्रांसफर हो जाता।

अगर वो गिफ्ट कार्ड का ऑप्शन लेना चाहता है, तो उसे एक नंबर दिया जाता। गिफ्ट कार्ड नंबर मिलने पर यूजर वेबसाइट पर जाकर कार्ड कोड जैसे ही डालता, उसका पैसा जालसाज अपने अकाउंट में ट्रांसफर कर लेते।

अरेस्ट हुए लड़कों को नोएडा पुलिस मीडिया के सामने लाई। इनमें ज्यादातर नॉर्थ ईस्ट के हैं।

अरेस्ट हुए लड़कों को नोएडा पुलिस मीडिया के सामने लाई। इनमें ज्यादातर नॉर्थ ईस्ट के हैं।

अब आपको बताते है कि अमेरिका के लोगों को डराने के लिए जालसाज क्या हथकंडा अपनाते थे…

अमेरिकी नागरिक जैसे ही हेल्पलाइन नंबर पर कॉल करते, जालसाज खुद को अमेरिका के सोशल सिक्योरिटी एडमिनिस्ट्रेटिव बताकर बात करता। उसे जो स्क्रिप्ट दी जाती है, उसी के अनुसार वो बोलता है। ऐसा ही एक कन्वर्सेशन हम आपको बता रहे हैं…

  • ‘मैं अमेरिका के सोशल सिक्योरिटी एडमिनिस्ट्रेटिव से बात कर रही हूं। मैं आपकी कैसे मदद कर सकती हूं।
  • क्या आप अपने जिपकोड के साथ अपना पहला नाम और अपना अंतिम नाम बताने में मेरी मदद कर सकते हैं, ताकि मैं आपकी केस फाइल निकाल सकूं।
  • आज आपसे संपर्क करने का कारण यह था कि आप पर दायर कुछ कानूनी प्रवर्तन कार्रवाई के बारे में आपको सूचित किया जाए।
  • सामाजिक सुरक्षा के लिए हमें आपके सोशल अकाउंट को निलंबित करने का आदेश मिला है, क्योंकि हमें आपके सोशल अकाउंट पर कई संदिग्ध गतिविधियां मिली हैं। क्या आपको इस मामले के संबंध में अपने स्थानीय पुलिस विभाग से कोई कॉल प्राप्त हुई?
  • ठीक है, इससे पहले कि मैं आगे बढ़ू और आपको मामले के बारे में और विवरण दूं। मुझे यह सुनिश्चित करना होगा कि क्या मैं सही व्यक्ति से बात कर रही हूं, इसलिए आपसे आपके SSN के LS 4 अंक की पुष्टि करने का अनुरोध करती हूं।
  • SSN क अत्यधिक गोपनीय जानकारी है, इसलिए मैं पहले आपसे कुछ सुरक्षा प्रश्न पूछूंगी। बैच आईडी-जीएस-77500, केस आईडी-डीसी-56651 हमारे पास पहले से ही सभी डिटेल हैं।
  • मैं यहां आपको समझाने और अपनी वैधता साबित करने के लिए नहीं आई हूं। रिकॉर्ड की गई कॉल पर हमें आपको सत्यापित करने की आवश्यकता है, क्योंकि FBI ने हमें प्रोटोकॉल का पालन करने के लिए मानदंड दिया है। आपको बोलने और सवाल करने का उचित मौका मिलेगा।
  • जांच तब शुरू हुई जब हमें टेक्सास की दक्षिणी सीमा पर एक कार मिली और कार के अंदर कुछ खून और नशीली दवाओं के अवशेष थे। इसलिए जांच के बाद हमने पाया कि कार आपके नाम पर किराए पर ली गई थी। व्यक्तिगत जानकारी करने पर पाया कि आपके दो पते है। रुलेट शहर के पते पर यूएस मार्शल ने छापा मारा था, लेकिन दुर्भाग्य से आवास के अंदर कोई नहीं था, लेकिन हमने 22 पॉन्ड कोकीन बरामद की है। कई बैंकों जैसे वित्तीय संस्थानों से कुछ दस्तावेज बरामद हुए हैं, जिनसे ट्रांजैक्शन किए गए।
  • अब हमें बताएं कि क्या इस मामले और आपकी आपराधिक गतिविधियों के संबंध में आपके कोई प्रश्न हैं। यदि आप कह रहे है कि आप इस मामले में शामिल नहीं हैं। मेरा मानना ​​है कि किसी ने आपकी व्यक्तिगत सामाजिक जानकारी का उपयोग किया है।
  • क्या आपने पहले कभी अपनी पहचान कहीं खोई है या क्या आपने पहले कभी अपना बटुआ खोया है या क्या आपको अपने घर में किसी के द्वारा तोड़-फोड़ की कोई घटना याद आई है?
  • ठीक है तो यह पहचान की चोरी का स्पष्ट मामला है। इसलिए यदि आप इस मामले में राजकोष विभाग की मदद करने के लिए सहमत हैं, तभी हम आपके मामले और वॉरेंट को रोक सकते हैं।
  • इसके बाद यूएस मार्शल को कॉल ट्रांसफर करने का डर दिखाकर खाता बंद करने और पैसे को कंवर्ट करा लिया जाता है।
मौके पर मिले इलेक्ट्रानिक डिवाइसेज और नकदी को बतौर सबूत जब्त किया गया है।

मौके पर मिले इलेक्ट्रानिक डिवाइसेज और नकदी को बतौर सबूत जब्त किया गया है।

नॉर्थ ईस्ट साइड के लोगों को करते हायर
ये कॉल सेंटर नाइट शिफ्ट में ही संचालित होते हैं, क्योंकि अमेरिका में वर्किंग पीरियड में लोगों को कॉल की जाती है। ज्यादातर नॉर्थ ईस्ट के लोगों को हायर किया जाता था, वो भी ऐसे लोग जिनका अंग्रेजी बोलने का स्टाइल अमेरिकन हो।

इसी बिल्डिंग में जालसाजों ने ऑफिस खोला था। यही से 84 लोगों को पकड़ा गया।

इसी बिल्डिंग में जालसाजों ने ऑफिस खोला था। यही से 84 लोगों को पकड़ा गया।

ऑफिस से मिला 20 लाख कैश
पुलिस ने बताया कि ये लोग एक बार में 30-30 लाख की ठगी करते थे। महीने में अधिकतम 15 दिन ठगी होती थी। ये पैसा हवाला के जरिए इनके पास आता था। जिससे ये अपने कर्मचारियों को 25 से 30 हजार रुपए की सैलरी देते थे। पुलिस अब इस हवाला नेटवर्क की जांच कर रही है।

नोएडा में पहले भी कॉल सेंटर के जरिए अमेरिका नागरिकों से की गई है ठगी…

  • 21 दिसंबर 2018 : अमेरिकी एजेंसी FBI के अधिकारी बनकर विदेशियों को ठगने वाले एक कॉल सेंटर का पता लगा। नोएडा पुलिस ने इस मामले में 125 लोगों को गिरफ्तार किया।
  • 26 अक्टूबर 2018 : नोएडा के थाना फेज-3 में कॉल सेंटर के जरिए अमेरिकी नागरिकों से ठगी करने के मामले में 34 कर्मचारी गिरफ्तार किया गया।
  • 7 जुलाई 2021 : बिसरख पुलिस और साइबर सेल ने ग्रेनो वेस्ट में गौड़ सिटी-2 के एक फ्लैट में चल रहे फर्जी कॉल सेंटर का भंडाफोड़ किया है। ये भी विदेशी नागरिकों को निशाना बनाते थे।
  • 5 अगस्त 2021 : ग्रेटर नोएडा में एक फर्जी कॉल सेंटर पकड़ा गया। जिसमें 32 गिरफ्तार किया गया। वहां भी अमेरिकी नागरिकों से की गई ठगी।

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